रिपोर्ट: डा०दिलीप कुमार झा पत्रकार गोड्डा झारखंड । झारखंड के गोड्डा जिला की धरती में वो उर्वरा शक्ति है जिसके गर्भ से अनेकों रत्...
झारखंड के गोड्डा जिला की धरती में वो उर्वरा शक्ति है जिसके गर्भ से अनेकों रत्न दुनिया के सामने आए जो दुनियां के लिए एक मिसाल बन गई ।जो इतिहास के पन्नों में दर्ज है देशभक्ति के नए आयाम लिखे गए जिसका जीता जागता प्रमाण है गांधी मैदान और शहीद स्तंभ और उस स्तंभ में लगे शिला पट्टिका हैं जिसमे देश की स्वतंत्रता के लिए हुए शहीद और स्वतंत्रता सेनानीनियो के नाम आज भी देश के नागरिकों के लिए प्रेरणा का एक श्रोत है ।साहित्य के क्षेत्र में ,राजनीति में या फिर देश की सर्वोच्च प्रशासनिक सेवा में उनका योगदान भुलाया नही जा सकता ।इतिहास के पन्नों में उन महान विभूतियों का नाम दर्ज है स्व ०सागर मोहन पाठक , स्व ०बुद्धिनाथ झा कैरब हिंदी साहित्य, स्व ०, राजेश्वर झा दीवाना, स्व० दीप नारायण चौधरी राजनेता, ,स्व० भागवत झा आजाद राजनेता,स्व० रामेश्वर ठाकुर पूर्व राज्यपाल ,उपेंद्र नाथ झा "अमरावत" द्वारा लिखे गए उपन्यास और कहानियों आज भी पठनीय और संग्रहणीय हैं और भी कई विभूतियों से सुसज्जित यह क्षेत्र महत्वपूर्ण और यादगार रहेगा समाज में उनके योगदान के लिए उन्हें सदा याद किया जाएगा ।आज भी इस क्षेत्र में कई नामी गिरामी हस्तियां हैं जाने माने चेहरे हैं मोलना कित्ता के अनिल कुमार झा पिता स्व० बिपलेश्वर झा के चौथे संतान जो कोल इंडिया के अध्यक्ष बने ।इन्होने कोल इंडिया को एक पहचान दी विकास के नए मार्ग प्रशस्त किए इनकी अध्यक्षता में देश के कोयला खदानों में उत्पादन क्षमता बढ़ाई जिससे देश के विकास में महत्वपूर्ण योगदान मिला,जो विभाग कोयला घोटाला और स्कैम से ग्रसित था उन धब्बों को भी मिटाने का अथक प्रयास भी किया ।
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